Old Mahabharat serial title song lyrics in Hindi with meaning
Old Mahabharat serial जिसने भी देखा है वह इसे कभी नहीं भूल पाएगा। खासकर old Mahabharat serial title song lyrics को। महेंद्र कपूर का स्वर कानों पड़ते ही महाभारत की कथा ही नही और दूसरी यादें भी ताजा हो जाती हैं। हैं ना!
Old Mahabharat title song lyrics और अंत में महेंद्र कपूर द्वारा कहा गया श्लोक यदा यदा हि धर्मस्य.....संभवामी यूगे। लगता ही नहीं कोई भुला होगा इसे। खैर आपकी ताजगी के लिए हम आपके समक्ष प्रस्तुत कर रहे हैं, Old Mahabharat serial title song lyrics in hindi with meaning. अंतिम श्लोक और song lyrics meaning in hindi के लिए बने रहिए।
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Mahabharat serial title song lyrics with hindi meaning B.R. Chopda jankari
Old Mahabharat Producer & Director:- B.R. Chopda, Ravi Chopda (पुराने महाभारत के निर्माता और निर्देशक:- बी.आर. चोपड़ा, रवि चोपडा)
Old Mahabharat Music Composer (संगीतकार) हैं राजकमल (Raj Kamal)
Serial Old Mahabharat की कथावस्तु या कहें Plot तैयार किया पंडित नरेंद्र शर्मा ने।
Old Mahabharat serial title song lyrics और दूसरे song lyrics लिखे हैं पंडित नरेंद्र शर्मा ने।
Mahender Kapoor को कौन नहीं जानता? Old Mahabharat serial title song lyrics को तो महेंद्र कपूर ने गाया ही है। साथ ही दूसरे और भी महाभारत धारावाहिक के सोंग लिरिक्स को अपनी आवाज दी है महेंद्र कपूर ने। महेंद्र कपूर की आवाज सुनते ही श्रद्धा और भक्ति वैसे उमड़ पड़ती है। उनकी आवाज में अलग ही कशिश है।
डॉक्टर राही मासूम रज़ा ने पटकथा और संवाद लिखे हैं ओल्ड महाभारत टीवी सीरियल के।
Old serial Mahabharat title song lyrics in hindi
श्लोक:-
कर्मण्येवाधिकारस्ते मा फलेषु कदाचन।
मा कर्मफलहेतुर्भूर्मा ते संगोऽस्त्वकर्मणि।।
महाभारत..
महाभारत..
महाभारत.. आ.. आ..
अथ श्री महाभारत कथा
अथ श्री महाभारत कथा आ..
महाभारत कथा
महाभारत कथा
कथा है पुरुषार्थ की ये स्वार्थ की परमार्थ की
सारथि जिसके बने श्री कृष्ण भारत पार्थ की
शब्द दिग्घोषित हुआ जब सत्य सार्थक सर्वथा शब्द दिग्घोषित हुआ
यदा यदा ही धर्मस्य ग्लानिर्भवति भारत अभ्युत्थानमअधर्मस्य तदात्मानम सृज्याहम।
परित्राणाय साधूनां विनाशाय च दुष्कृताम धर्म संस्थापनार्थाये संभवामि युगे युगे।।
हालांकि उपर्युक्त पंक्तियां टीवी सीरियल ओल्ड महाभारत के टाइटल सॉन्ग लिरिक्स स्वरूप सुनाई पड़ती हैं। परंतु Old Mahabharat title song lyrics full नीचे दी गई पंक्तियों को भी शामिल किया गया था। अथवा यह कहा जा सकता है, यह पंक्तियां सीरियल के बीच में या अंत में सुनी जा सकती हैं। परंतु ये पंक्तियां भी हैं तो Old Mahabharat title song lyrics का ही हिस्सा।👇
भारत की है कहानी
सदियों से है पुरानी
है ज्ञान की ये गंगा
ऋषियों की अमरवाणी
ये विश्व भारती है
वीरों की आरती है
है नित नई पुरानी
भारत की है कहानी
महाभारत.. महाभारत...
महाभारत..महाभारत..
श्लोक:-
यदा यदा ही धर्मस्य ग्लानिर्भवति भारत अभ्युत्थानमअधर्मस्य तदात्मानम सृज्याहम।
परित्राणाय साधूनां विनाशाय च दुष्कृताम धर्म संस्थापनार्थाये संभवामि युगे युगे।।
Old Mahabharat serial title song lyrics meaning hindi me
Mahabharat का मतलब जहां आम जनजीवन में हम लड़ाई झगडे या उपद्रव के प्रयाय के रूप में उपयोग कर लेते हैं। जैसे हम बच्चे कभी कभी छेड़खानी या शोर शराबा करते हैं अथवा कही हल्ला गुल्ला सुनते हैं और हम कह उठते हैं, "अरे भाई क्या महाभारत मचा रखी है? या क्या महाभारत चल रही है?"
लेकिन यह गलत है। महाभारत का अभिप्राय महान भारत से है। ना कि उसके युद्ध स्वरूप से। खैर आगे का मीनिंग जानते हैं।
अगला शब्द है अथ जिसका अर्थ होता है शुरू या शुरुआत। यानी महान भारत की कहानी शुरू होती है।
Old Mahabharat serial title song में फिर है कथा है पुरुषार्थ की। पुरुषार्थ का अर्थ होता है, वह मुख्य अर्थ, उद्देश्य या प्रयोजन जिसकी प्राप्ति या सिद्धि के लिए मनुष्य का प्रयत्न करना आवश्यक कर्तव्य हो। पुरुषार्थ चार भेद हैं- धर्म, अर्थ, काम और मोक्ष।
Old serial Mahabharat title song lyrics meaning में अगले शब्द हैं, "स्वार्थ की" स्वार्थ से अभिप्राय सभी जानते हैं। वैसे यहां स्वार्थ के प्रयाय के रूप में ओल्ड महाभारत में आप धृतराष्ट्र को देख सकते हैं।
पुराने महाभारत के शीर्षक गीत अगला शब्द है परमार्थ से अभिप्राय भलाई अथवा उपकार। महाभारत में परमार्थ पृथ्वी की भलाई से है जो श्रीकृष्ण के कर कमलों से होनी थी।
पार्थ से अभिप्राय अर्जुन, गीता में कृष्ण द्वारा संबोधित नाम, पृथा (कुंती) के पुत्र अर्जुन और अर्जुन नामक वृक्ष दूसरे भावो में भारत के राजा, भूपति आदि यही पुराने महाभारत के शीर्षक लिरिक्स सोंग का मतलब है। आप अंदाजा लगा सकते हैं के श्रीकृष्ण सारथी बने थे उनके।
Title song Old Mahabharat serial की अगली पंक्ति का भाव है कि संपूर्ण पृथ्वी पर शब्दो के रूप में संस्कारो के रूप में विष फैला तो सत्य के लिए घोषणा हेतु सत्य (श्रीकृष्ण) ही धरती पर पधारे। क्योंकि सत्य ही अटल है, सत्य ही सर्वथा है, संपूर्ण है।
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